लूः लक्षण तथा बचाव के उपाय
गर्मी के दिनों में जो हवा चलती है उसे लू कहते हैं। लक्षणः लू लगने से चेहरा लाल हो जाता है, नब्ज तेज चलने लगती है। साँस लेने में कष्ट होता है, त्वचा शुष्क हो …
गर्मी के दिनों में जो हवा चलती है उसे लू कहते हैं। लक्षणः लू लगने से चेहरा लाल हो जाता है, नब्ज तेज चलने लगती है। साँस लेने में कष्ट होता है, त्वचा शुष्क हो …
शीतकाल बलसंवर्धन का काल है | इस काल में सम्पूर्ण वर्ष के लिए शरीर में शक्ति का संचय किया जाता है | शक्ति के लिए केवल पौष्टिक, बलवर्धक पदार्थों का सेवन ही पर्याप्त नहीं है …
इस ऋतू में वात का शमन करनेवाले तथा शरीर में जलीय अंश का संतुलन रखनेवाले मधुर, तरल, सुपाच्य, हलके, ताजे, स्निग्ध, रसयुक्त, शीतगुणयुक्त पौष्टिक पदार्थों का सेवन करना चाहिए । आहार : पुराने साठी के …
स्वास्थ्य की रक्षा की कुछ बाते जान ले और शरीर स्वस्थ रहे :- 1) गाजर का हलवा :- गाजर का पीला हिस्सा निकाल दिया, उसमें लोहतत्व और विटामिन्स ‘ए’ भरपूर मात्रा में है | गाजर …
आजकल पाउडर का अथवा सार तत्त्व निकाला हुआ या गाढ़ा माना जानेवाला भैंस का दूध पीने का फैशन चल पड़ा है इसलिए लोगों की बुद्धि भी भैंसबुद्धि बनती जा रही है। शास्त्रों ने व वैज्ञानिकों …
जिस समय जो स्वर चलता है उस समय तुम्हारे शरीर में उसी स्वर का प्रभाव होता है। हमारे ऋषियों ने इस विषय बहुत सुंदर खोज की है। दायें नथुने से चलने वाला श्वास दायाँ स्वर …
जब आँख, कान, आदि ज्ञानेन्द्रियाँ और हाथ, पैर आदि कर्मेन्द्रियाँ तथा मन अपने-अपने कार्य में रत रहने के कारण थक जाते हैं, तब स्वाभाविक ही नींद आ जाती है। जो लोग नियत समय पर सोते …
घी, दूध, मूँग, गेहूँ, लाल साठी चावल, आँवले, हरड़े, शुद्ध शहद, अनार, अंगूर, परवल – ये सभी के लिए हितकर हैं। अजीर्ण एवं बुखार में उपवास हितकर है। दही, पनीर, खटाई, अचार, कटहल, कुन्द, मावे …
गुणों की दृष्टि से बहुत अधिक लाभकारी है। गर्मी के मौसम में नींबू का शरबत बनाकर पिया जाता है। नींबू का रस स्वादिष्ट और पाचक होने के कारण स्वास्थ्य के लिए अत्यंत उपयोगी सिद्ध हुआ …
★ नाक को रोगरहित रखने के लिये हमेशा नाक में सरसों या तिल आदि तेल की बूँदें डालनी चाहिए। कफ की वृद्धि हो या सुबह के समय पित्त की वृद्धि हो अथवा दोपहर को वायु …