डेंगू बुखार के घरेलू उपचार, लक्षण व बचाव | Home Remedies For Dengue

Last Updated on March 5, 2020 by admin

डेंगू क्या है ? : Dengue in Hindi

डेंगू होने पर बुखार आता है, शरीर में प्लेटलेट्स कम हो होने लगते है और खून की कमी होने लगती है। दुनिया भर में हर साल डेंगू के कारण हज़ारो लाखों लोग अपनी जान गंवा देते है, ये बीमारी एडीज नामक मच्छर के काटने की वजह से होती है। इस प्रजाति के मच्छर जादातर दिन मे काटते है और ये मच्छर साफ़ पानी में फैलते है।

ड्रम, टंकी और कूलर में पड़े पानी में ये मच्छर अंडे देते है। अक्सर लोग डेंगू होने पर घबरा जाते है, पर इस बीमारी में घबराने की नहीं धैर्य की जरुरत है। इस लेख में डेंगू का इलाज के घरेलु नुस्खे और उपाय के साथ साथ इसके लक्षण और बचाव के बारे में पढ़ेंगे और जानेंगे डेंगू बुखार में क्या करे ।

एलोपैथी में डेंगू के इलाज की अभी तक कोई दवा नहीं है। डेंगू में बुखार कंट्रोल नहीं होता और रोगी के प्लेटलेट्स घटने लगते है। कई बार लगातार बुखार के रहने और प्लेटलेट्स के घटने से रोगी की मौत भी हो जाती है। इसी वजह से डेंगू को जान लेवा रोग कहा जाता है।

डेंगू बुखार के लक्षण : Dengue Bukhar ke Lakshan Kya Hote Hain

  • डेंगू बुखार होने पर रोगी को अचानक बिना खांसी व जुकाम के तेज बुखार हो जाता है, रोगी के शरीर में तेज दर्द होकर हडि्डयों में पीड़ा होती हैं।
  • रोगी के सिर के अगले हिस्से में तेज दर्द होता है, आंख के पिछले भाग में दर्द होता है, रोगी की मांसपेशियों और जोड़ों में दर्द होता है,
  • रोगी को भूख कम लगती है और उसके मुंह का स्वाद खराब हो जाता है,
  • रोगी की छाती पर खसरे के जैसे दाने निकल आते हैं, इसके अलावा जी मिचलाना, उल्टी होना, रोशनी से चिड़चिड़ाहट होना आदि लक्षण पाए जाते हैं।
  • परन्तु कभी-कभी डेंगू बुखार में खून भी आने लगता है, जिसे हीमोरैजिक रक्तस्राव कहते हैं। हीमोरैजिक रक्तस्राव के समय के लक्षण कुछ इस प्रकार हैं- लगातार पेट में तेज दर्द रहना, त्वचा ठंड़ी, पीली व चिपचिपी होना, रोगी के चेहरे और हाथ-पैरों पर लाल दाने हो जाते हैं।
  • हीमोरैजिक डेंगू होने पर शरीर के अन्दरूनी अंगों से खून आने लगता है। नाक, मुंह व मल के रास्ते खून आता है जिससे कई बार रोगी बेहोश हो जाता है।
  • खून के बिना या खून के साथ बार-बार उल्टी, नींद के साथ व्याकुलता, लगातार चिल्लाना, अधिक प्यास का लगना या मुंह का बार-बार सूखना आदि लक्षण पैदा हो जाते हैं।
  • हीमोरैजिक डेंगू अधिक खतरनाक होता हैं और डेंगू बुखार साधारण बुखार से काफी मिलता-जुलता होता है।

डेंगू के घरेलू उपाय और आयुर्वेदिक नुस्खे : Dengue Bukhar ka Gharelu Ilaj

एलोवेरा के डेंगू बुखार मे फायदे

गेंहू का ज्वारा, गिलोय और पपीते के पत्ते। इन सबको मिला कर इन का रस पीने से डेंगू में चमत्कारी ढंग से फायदा मिलता है। ये उपाय चिकनगुनिया का इलाज में भी काफी उपयोगी है। अगर ये सब चीज़े ना मिले तो गिलोय का पानी दिन में 3 बार पिये, इससे भी डेंगू के उपचार में फायदा मिलता है।

गिलोय (giloy) के डेंगू बुखार मे लाभ

सुबह शाम घी या फिर शहद में गिलोय का रस मिला कर पीने से खून की कमी दूर होती है।

तुलसी (Basil) का उपयोग डेंगू बुखार के इलाज में

तुलसी के पत्तों को गरम पानी में उबालकर छानकर, रोगी को पीने को दें। तुलसी की यह चाय डेंगू रोगी को बेहद आराम पहुंचाती है। यह चाय दिनभर में तीन से चार बार ली जा सकती है।

चिरायता (Chirayta) के डेंगू बुखार मे लाभ

चिरायता में बुखार को ठीक करने के गुण होते हैं। डेंगू के बुखार को भी चिरायता के इस्तेमाल से ठीक किया जा सकता है।

मेथी के पत्ते से डेंगू का इलाज

यह पत्तियां बुखार कम करने के लिए सहायक हैं. यह पीड़ित का दर्द दूर कर उसे आसानी से नींद में मदद करती हैं. इसकी पत्तियों को पानी में भिगोकर उसके पानी को पीया जा सकता है. इसके अलावा, मेथी पाउडर को भी पानी में मिलाकर पी सकते हैं ।

विशेष : अच्युताय हरिओम सुरक्षा वटी व अच्युताय हरिओम तुलसी अर्क डेंगू रोग में काफी राहत पहुचाता है । इसे रोगी व निरोगी दोनों अवस्थाओं में लिया जा सकता है ।

डेंगू से बचाव के उपाय :

  1. घर के अंदर और आस पड़ोस में पानी जमा न होने दें ।
  2. नीम की पत्तियों का धुँआ घर में फैलायें ।
  3. पानी के सभी बर्तन को खुला न रखें ।
  4. किचेन और वाशरूम को सूखा रखें ।
  5. कूलर का पानी सुबह-शाम बदलते रहें ।
  6. खिड़कियों और दरवाज़ों में जाली लगवायें ।
  7. शरीर पर मच्छर को दूर रखने वाली क्रीम लगायें ।
  8. शरीर पूरी तरह से ढकने वाले कपड़े पहनें ।
  9. सोते समय मच्छर दानी का प्रयोग करें ।
  10. घर के आस पास मच्छर मारने वाली दवा का छिड़काव करवायें ।

डेंगू में खान-पान बदलें :

डेंगू एक लाइलाज़ रोग है अभी तक इसकी कोई दवा या वैक्सीन नहीं बनी है। सिर्फ़ शरीर की इम्यूनिटी / रोग प्रतिरोधक क्षमता बढ़ाना ही एक मात्र इलाज है। उपरोक्त लक्षण दिखते ही पास के अस्पताल जायें।

डेंगू होने पर शरीर में प्लेटलेट्स की संख्या तेज़ी से घटने लगती है। ऐसे में दवा के साथ-साथ खान-पान और सही दिनचर्या रखना बेहद ज़रूरी हो जाता है।

डेंगू से बचने या होने पर नीचे दी गयी चीज़ों का सेवन करना चाहिए :

  1. सादा भोजन खायें जिसमें नमक स्वाद से अधिक न हो। मसालेदार चटपटी चीज़ों का सेवन बंद कर दें।
  2. अनार, ज्वार और गेहूँ के घास का रस पियें।
  3. ताज़े मौसमी फलों का सेवन करें।
  4. नारियल पानी और साफ़ पानी का अधिक से अधिक मात्रा में पियें।
  5. विटामिन C युक्त फलों को खाना स्वस्थप्रद रहता है। नींबू, संतरे, मौसम्बी, अंगूर, स्ट्राबरी और जामुन में पर्याप्त मात्रा में वाइटमिन C पाया जाता है।
  6. पपीते के पत्तों का रस बनाकर दिन में दो से तीन बार पिएं, यह माना जाता है कि इससे प्लेटलेट्स की संख्या बढ़ती है।
  7. पपीते की तरह गिलोय की बेल का सत्व भी शरीर में प्लेटलेट्स की संख्या नियमित रखने में सहायक होता है।

(दवा व नुस्खों को वैद्यकीय सलाहनुसार सेवन करें)

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