Last Updated on July 24, 2019 by admin
भ्रूमध्य में सूर्यनारायण का ध्यान करने से, ॐकार का ध्यान करने से बुद्धि विकसित होती है और नाभि से सूर्य का ध्यान अथवा ॐकार का ध्यान करने से निरोगता प्राप्त होती है |
लंबा श्वास खींच कर सवा मिनट से डेढ़ मिनट रोके फिर धीरे-धीरे छोड़े फिर बाहर श्वास रोक के एक मिनट छोड़ दे फिर अंदर रोक के और छोड़ दे | बस ! एक बार अंदर रोके एक बार बाहर रोके प्राणायाम योग करना | शरीर में जो थकान, बीमारी के कण होने वाले है वो निकलते है |