जीभ व त्वचा की सुन्नता दूर करने के सरल घरेलू उपाय

Last Updated on January 22, 2023 by admin

         त्वचा में किसी घाव के या किसी अन्य रोग के कारण त्वचा सुन्न पड़ जाती है। त्वचा सुन्न हो जाने पर उसमें किसी प्रकार का दर्द अनुभव नहीं होता है। ऐसे ही जीभ के कभी-कभी दांतों के नीचे आने के कारण कट जाने से कटी हुई जगह सुन्न पड़ जाती है लेकिन उसमें किसी तरह का दर्द अनुभव नहीं होता।

जीभ व त्वचा में हुई सुन्नता के लक्षण :

जीभ के रोग में – 

  • जीभ का फूल जाना, 
  • लार टपकना, 
  • जीभ का कटना-फटना तथा
  •  जीभ पर छालें पड़ जाना आदि लक्षण प्रकट होते हैं।

 त्वचा के सुन्न पड़ जाने पर – चोट लग जाने पर भी दर्द का अनुभव नहीं होता है।

विभिन्न आयुर्वेदिक औषधियों से जीभ व त्वचा की सुन्नता का उपचार : 

1. लौंग : पान खाने से या किसी अन्य कारण से जीभ फट गई हो तो 1 लौंग मुंह में रखने से आराम रहता है। 

2. मालकांगनी : मालकांगनी (ज्योतिष्मती) का पहले दिन 1 बीज तथा दूसरे दिन रोजाना से 1-1 बीज बढ़ाते हुए 50 वें दिन में 50 बीज खायें तथा 50 वें दिन से 1-1 बीज कम करते हुए 1 बीज की मात्रा तक आखिरी दिन 1 बीज खायें। इसके प्रयोग से मूत्र की मात्रा बढ़ जाती है लेकिन इससे कोई हानि नहीं होती है तथा जीभ और त्वचा की सुन्नता ठीक होती है। 

3. सेंधानमक : 10 ग्राम सेंधानमक और 300 मिलीलीटर ठंडे पानी से बने घोल से सुन्न त्वचा वाली जगह पर मालिश करें। शरीर के किसी भाग की सुन्न त्वचा पर इसके प्रयोग से आराम मिलता है।

4. नींबू : जीभ के रोग में बड़े नींबू के रस में थोड़ा-सा सेहुंड़ का दूध मिलाकर जीभ पर लगाने से जीभ की सुन्नता दूर होती है।

5. धनिया : हरे धनिये को चबाने से जीभ व त्वचा की सुन्नता ठीक हो जाती है।

6. दालचीनी : जीभ के लकवे में या जीभ के सुन्न हो जाने पर, दालचीनी का तेल मिश्री में मिलाकर 1 से 3 बूंद रोजाना दिन में 2 से 3 बार सेवन करने से लाभ होता है। इसके अलावा दालचीनी का चूर्ण मुंह में रखकर बराबर चूसते रहना भी लाभकारी रहता है।.

7. नागरमोथा : 3 से 6 ग्राम नागरमोथा को पीसकर दूध में मिलाकर सुबह-शाम सेवन करने से जीभ की सुन्नता के रोग में लाभ होता है।

8. कचनार : कचनार की छाल का चूर्ण बनाकर 2 से 4 ग्राम चूर्ण खायें। इसके रोजाना सुबह-शाम प्रयोग से त्वचा एवं रस ग्रंथियों की क्रिया ठीक हो जाती है और त्वचा की सुन्नता मिट जाती है।

9. चुरनहार : चुरनहार के पंचांग को पानी में घोटकर पीयें तथा सुन्न त्वचा पर चुरनहार के पत्ते और ताजे काण्ड को पीसकर लगायें। इससे त्वचा की सुन्नता खत्म हो जाती है।

10. कुचला : त्वचा सुन्न हो जाने पर शोधित कुचला का चूर्ण आधा से लगभग 1 ग्राम का चौथा भाग सुन्न त्वचा पर लगाने से त्वचा की सुन्नता ठीक हो जाती है।

11. तिरफल : तिरफल के जड़ की छाल को चबाने से लकवे के कारण आई हुई जीभ में उत्पन्न सुन्नता दूर होती है।

12. टमाटर : ताजे टमाटर पर सेंधानमक डालकर खाने से जीभ का मैलापन तथा सुन्नता खत्म हो जाती है।

(अस्वीकरण : दवा, उपाय व नुस्खों को वैद्यकीय सलाहनुसार उपयोग करें)

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