Last Updated on January 25, 2017 by admin
महाभारत आदि को मिथ्या मानने वालो को यह लेख जरुर पढ़ना चाहिये
महाभारत के इस प्रसंग को सभी जानते है की एक समय जब श्री कृष्ण की बहन सुभद्रा गर्भ धारण किये हुए थी तब श्री कृष्ण उन्हें चक्रव्युह का तोड़ बता रहे थे असल में श्री कृष्ण तो ठहरे सर्वज्ञ, वे बता तो उसी शिशु (अर्जुन पुत्र :-अभिमन्यु) को रहे थे जो सुभद्रा के गर्भ में था क्योंकि वे जानते थे की इस शिशु को आगे जा कर इस रणनीति की परम आवश्यकता पड़ेगी । परन्तु नियति कुछ और ही थी । चक्रव्युह का वर्णन सुनते सुनते सुभद्रा जी की आंख लग गई और वर्णन केवल चक्रव्युह में घुसने (तोड़ने) तक ही हो पाया था निकलने का सुनने से पूर्व ही सुभद्रा जी सो गई । और इसी कारण श्री अभिमन्यु चक्रव्युह में घिर कर ही वीरगति को प्राप्त हुए थे |
इस प्रसंग को श्री व्यास जी ने इस प्रकार लिखा है :
ओम ओम ओम
श्री कृष्णेन सुभद्राये गर्भवत्येनिरुपितम
चक्रव्यूह प्रवेशस्य रहस्यम चातुदम्भितत
अभिमन्यु स्तिथो गर्भे द्विवेद्यनानयुतो श्रुणो
रहस्यम चक्रव्यूहस्य स.म्पूर्णम असत्यातवा
यदार्जुनो गतोदुरम योदूं सम्शप्तदैसः
अभिमन्यु.म बिनानान्यः समर्द्योव्यूहभेदने
भेदितेचक्रव्यूहेपि अतएव विबिणेवा
पार्थपुत्रस्य एकाकी कौरवे निगुर्णेवतः
अल्पमति के कुछ इस पौराणिक कथा को कल्पना पर आधारित मानते हैं | ये कल्पना नही हमारा इतिहास है और अक्षर अक्षर सत्य है |
हालही में हुए एक प्रयोग (2 जनवरी 2013 को) में वैज्ञानिकों ने खोज निकाला है के गर्भ के शिशुओं भी भाषण की ध्वनि सीखता है | तथा वैज्ञानिकों ने महाभारत के इस प्रसंग पर भी मुहर लगाई |
नवीनतम वैज्ञानिक सबूत से पता चला है कि बच्चे उनके गर्भ के समय से ही सुनते है और भाषा कौशल सीखते है। फ्रांसीसी वैज्ञानिकों का कहना है कि गर्भ के बच्चे अपने जन्म के तिन महीने पहले ही भाषण ध्वनियों में अंतर करना सिख जाता है। (vedicbharat.com) अमेरिका में Pacific Lutheran University के शोधकर्ताओं ने एक नए अध्ययन में पता लगाया है कि बच्चे गर्भाशय में भी मातृभाषा के विशिष्ट ध्वनियों चुन सकते हैं। अध्ययन ने इस अनुमान को नकार दिया है कि बच्चे पैदा होने के बाद ही भाषा सीखते है। “ यह पहला अध्ययन है जिससे पता चलता है की हम पैदा होने से पहले ही अपनी मातृभाषा की भाषण ध्वनियों को सीखते है ” – क्रिस्टीन मुन, जो अध्ययन का नेतृत्व कर रहे उन्होंने कहा:- ज्यादातर वैज्ञानिक अब आश्वस्त है कि अर्जुन के पुत्र अभिमन्यु ने युद्ध के चक्रव्यूह गठन को भेदने की कला माँ सुभद्रा के गर्भ में सीखी।
जिन्हें केवल पाश्चात्य जगत वालो का कहा ही सत्य लगता है वो यहाँ सत्य को खंगाल सकते है :-
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http://ilabs.uw.edu/