Last Updated on August 30, 2021 by admin
होंठों की संरचना अत्यंत नाजक व महत्वपूर्ण होती है। होंठ शरीर का ऊपरी आवरण नहीं है, बल्कि यह अंदरूनी आवरण है। होंठ का गुलाबी हिस्सा ग्लूकोसा (श्लेष्मा) होता है, जिसकी वजह से होंठ गुलाबी दिखाई देते है। होठों में शरीर की त्वचा की भांति स्वेद ग्रंथियां नहीं होती। होंठों में ऑयल या फैट उत्पन्न करने वाली सिबेशिया ग्रंथि भी नहीं होती है। होंठो को शरीर का सर्वाधिक सरस, कोमल तथा मधुर अंग माना गया है। महाकवि कालिदास ने अधरों को “प्रेम का सर्वस्व” कह कर सम्बोधित किया है।
होंठों के कई महत्वपूर्ण कार्य हैं। चूसना होंठों का सबसे पहला काम है। शिशु अपनी मां के स्तन को चूसकर दूध पीता है। होंठों का दूसरा काम है मुंह से स्वास लेते समय कोई अवांछित तत्व मुंह के अंदर जाने से रोकना होंठ किसी वस्तु के तापमान को बहुत अच्छी तरह पहचानते हैं। जिस तापमान वाली वस्तु शरीर के लिए ग्रहण करने योग्य है, होंठ उसे स्वीकार कर लेते हैं, अन्यथा अस्वीकार कर देते हैं।
होंठ बातचीत करने में मुख्य भूमिका निभाते हैं, स्वर तंत्र, जीभ तथा होंठ मिलकर शब्दों का उच्चारण करने में सहायता करते हैं।शब्दों के उच्चारण होंठों के खुलने व बंद करने पर निर्भर होते हैं। होंठों के कंपन सही न होने पर उच्चारण गलत होता है। होंठ आनंद व अनुभूति भी प्रदान करते हैं। यौन साहचर्य में होंठ विशेष भूमिका निभाते हैं। इन सभी कानों को करने के लिए होंठों में आर्षीक्यूलरीज ओरिस नामक मांसपेशी सक्रिय होती है।
नारी के आकर्षण में होंठों का विशेष महत्व है। प्राकृतिक सौंदर्य वाले होंठ, नारी के चेहरे की सुंदरता में चार चांद लगाते हैं। जिनके होंठ जितने नाजुक, मुलायम, सदर व सुर्ख होते हैं, उनका चेहरा उतना ही खिला-खिला व निखरा हुआ लगता हैं। कवियों ने होंठों की तुलना गुलाब की पंखुड़ियों से की है। किसी मनचले ने होंठों की तुलना संतरे की फांक से की है। होंठों के प्रति की गई असावधानी व लापरवाही होंठों के सौंदर्य को नष्ट कर देती है। होंठों की प्रकृतिक सुंदरता को बनाए रखने के लिए विशेष सतर्कता और सावधानी रखें।
खूबसूरत होंठों के लिए रखे इन बातों का ख्याल :
- दो-तीन प्रकार की लिपस्टिक मिलाकर होंठों पर न लगाएं। ऐसा करने से होंठों का सौंदर्य बिगड़ जाता है।
- लिपस्टिक को रगड़-रगड़ कर न उतारें। ऐसा करने से होंठों का आकार बिगड़ जाता है तथा उनकी सुंदरता नष्ट हो जाती है।
- होंठों को जीभ से चाटते रहने से भी होंठों की त्वचा प्रभावित होती है, जिससे होंठों का सौंदर्य बिगड़ जाता है।
- होंठों को दांतों के बीच लगकर दबाने तथा होंठों क खींचते रहने से भी होंठों का सौंदर्य नष्ट हो जाता है।
- क्रोध में आकर अपने होंठों को दांतों के बीच लाकर काटने से होंठों का आकर्षण नष्ट हो जाता है।
- बहुत गर्म चाय, कॉफी, दूध के कप, गिलास आदि होंठों से लगाने से होंठों की सुंदरता व कोमलता नष्ट हो जाती है।
- पिन, क्लिप, पेन, पेंसिल आदि चीजें मुंह में डालकर बैठे रहने से होंठों की कोमल त्वचा प्रभावित होती है।
- धूम्रपान करने से होंठ अपनी प्राकृतिक सुंदरता व कोमलता खो देते हैं।
- दांतों से नाखून चबाने की आदत होंठों को नुकसान पहुंचाती है।
- मुंह में अंगूठा डालकर चूसते रहने से निचला होंठ मोटा व बड़ा हो जाता है।
- होंठों पर हमेशा लिपस्टिक लगाए रखने से भी होंठों की प्रकृतिक सुंदरता नष्ट हो जाती है।
- रात को होंठों पर लिपस्टिक लगाकर सोने से होंठों की सुंदरता शीघ्र नष्ट हो जाती है।
- मुड़े हुए ब्रिसल वाले ब्रुश से दांत साफ करने से होंठ प्रभावित होते है।
- दूसरों के द्वारा इस्तेमाल की गई लिपस्टिक या लिपस्टिक ब्रुश का इस्तेमाल न करें। इससे श्वास, गला, त्वचा, मुख व होंठों का संक्रमण होने का भय रहता है।
- जोश या खुशी में आकर जहां-तहां न चूमें। इससे होंठों पर संक्रमण होने की संभावना रहती है।
होंठों को खूबसूरती बढ़ाने के उपाय :
होठों की देखभाल कैसे करें ?
1). दूध – प्रतिदिन होंठों पर कच्चा दूध लगाने से होंठ सुंदर बने रहते हैं। दूध में पाए जाने वाले तत्व कैल्शियम रेटिनॉल, लैक्टोज आदि होंठों की त्वचा को पोषण देकर होंठों की चमक को बनाए रखते है।
2). खीरा – खीरे की फांक, संतरे की फांक, मौसमी की फांक (इनमें से कोई एक) होंठों पर नियमित रगड़ने से होंठों की त्वचा सुंदर व मुलायम बनती है। यह उपाय होंठों को ठंडक भी प्रदान करता है। गर्मी के दिनों में इसका इस्तेमाल करने से होंठों की प्रकृतिक सुंदरता बनी रहती है।
3). मलाई – एक चम्मच दूध-मलाई, इसमें दो-तीन बूंद नीबू का रस मिलाकर हलके हाथों से होंठों पर मलें, इससे होंठ सुंदर व कोमल बने रहेंगे। दूधमलाई अच्छे किस्म का क्लिंजर है तथा इसका मॉइश्चराइजर गुण होंठों को मुलायम बनाता है।
4). नारियल का तेल – रात को सोते वक्त होंठों पर जैतून का तेल या शुद्ध नारियल का तेल लगाने से होंठ मुलायम बने रहते हैं। जैतून या नारियल के तेल में पाए जाने वाले तत्व होंठों की त्वचा को मुलायम व सुन्दर बनाते हैं।
5). गुलाब – गुलाब की ताजी पंखड़ियां तथा मक्खन मिलाकर होंठों पर लगाने से होठ चिकने व सुर्ख बने रहते हैं। मक्खन में पेराएमिनो बेंजाइक एसिड तथा गुलाब की पंखुड़ियों में विटामिन ‘बी-5’ तथा विटामिन ‘ई’ पाया जाता हैं, जो होंठों को चिकना व सुर्ख बनाते हैं।
6). केसर – मक्खन में उच्च गुणवत्ता की केसर मिलाकर लगाने से होंठ कोमल व गुलाबी कते हैं। सूर्ख होंठों पर नियमित रूप से शहद का लेप करने से उनकी खुश्की दूर हो जाती हैं।